Ayush Yadav Murder Case: “जहां दिखेंगे वहीं गोली मार दूंगी…” आयुष यादव की मौत पर बहन प्राची यादव का खुला अल्टीमेटम

Ayush Yadav Murder Case
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Ayush Yadav Murder Case: उत्तर प्रदेश के बलिया जिले से कुछ दिन पहले एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई, जिसने पूरे इलाके में दहशत फैला दी। उभांव थाना क्षेत्र के बेल्थरा रोड पर शनिवार को आयुष यादव की उसके घर के बाहर ही गोली मारकर हत्या कर दी गई। बताया जा रहा है कि आयुष उस समय घर के बाहर टहल रहा था, तभी बाइक सवार बदमाश वहां पहुंचे और उस पर ताबड़तोड़ गोलियां चला दीं। हमले में एक गोली उसकी जांघ में और दो गोलियां सीने में लगीं, जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया।

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वाराणसी ट्रॉमा सेंटर में तोड़ा दम (Ayush Yadav Murder Case)

गोली चलने की तेज आवाज सुनकर घर के अंदर मौजूद परिजन बाहर दौड़े। आयुष की छोटी बहन प्राची यादव ने जैसे ही दरवाजा खोला, उसका भाई लड़खड़ाते हुए उसके ऊपर गिर पड़ा। आनन-फानन में परिजन आयुष को इलाज के लिए वाराणसी के ट्रॉमा सेंटर लेकर पहुंचे, लेकिन डॉक्टरों की तमाम कोशिशों के बावजूद इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।

दम तोड़ने से पहले बताए हमलावरों के नाम

परिजनों का दावा है कि आयुष ने आखिरी सांसें लेते समय खुद अपनी बहन को हमलावरों के नाम बताए थे। इसी आधार पर परिवार ने इस हत्याकांड के लिए रोबिन सिंह, पवन सिंह, रोहित और राज नाम के युवकों पर आरोप लगाए हैं। परिवार का कहना है कि ये सभी नाम पहले से ही आयुष के लिए खतरा बने हुए थे।

पुरानी दुश्मनी और जलन की बात

आयुष की बहन प्राची का कहना है कि उसके भाई की हत्या के पीछे पुरानी रंजिश और जलन है। उसने बताया कि आयुष होटल मैनेजमेंट के क्षेत्र में लगातार आगे बढ़ रहा था। उसका वाराणसी में होटल का काम था और वह अपनी मेहनत से पहचान बना रहा था। इसी वजह से कुछ लोग उससे जलते थे और उसे रास्ते से हटाना चाहते थे।

पहले भी हो चुकी थीं हत्या की कोशिशें

प्राची ने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि यह पहली बार नहीं था जब आयुष पर हमला हुआ हो। राज नाम के युवक पर पहले फिरौती मांगने का आरोप लग चुका है। इसके अलावा आयुष को दो बार पहले भी घेरकर गोली मारने की कोशिश की गई थी। फरवरी महीने में पवन सिंह नाम के युवक ने भी उस पर जानलेवा हमला करने की कोशिश की थी, लेकिन हर बार शिकायतों के बावजूद कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई।

पुलिस पर लापरवाही का आरोप

परिवार का गुस्सा इस बात को लेकर है कि नामजद आरोपियों के खिलाफ अब तक कोई सख्त कदम नहीं उठाया गया। परिजनों का कहना है कि अगर पुलिस ने पहले की शिकायतों को गंभीरता से लिया होता, तो शायद आज आयुष जिंदा होता। इसी लापरवाही ने अपराधियों के हौसले बढ़ा दिए।

बहन का आक्रोशित बयान

भाई की मौत के बाद प्राची यादव का दर्द गुस्से में बदलता नजर आया। यूपी तक से बातचीत में उसने कहा, “प्रशासन सुन ले, पूरा देश सुन ले… अगर पुलिस ने हत्यारों को गोली नहीं मारी तो मैं उन्हें जहां देखूंगी वहीं गोली मारूंगी। अब कहां है योगी आदित्यनाथ का बुलडोजर?” प्राची ने साफ तौर पर भाई के हत्यारों के घर पर बुलडोजर चलाने की मांग की।

कानून हाथ में लेने की चेतावनी, फिर जताया भरोसा

गुस्से और दुख के बीच प्राची ने यह भी कहा था कि अगर अपराधियों को सजा नहीं मिली तो वह खुद कानून हाथ में लेने को मजबूर होगी। हालांकि, कुछ दिनों बाद जब उससे दोबारा बातचीत हुई तो उसने प्रशासन और शासन की जांच प्रक्रिया पर भरोसा जताया। उसका कहना था कि वह सिर्फ अपने भाई के लिए इंसाफ चाहती है।

इंसाफ की मांग पर अड़ा परिवार

फिलहाल आयुष यादव की हत्या का मामला बलिया में चर्चा का विषय बना हुआ है। परिवार लगातार आरोपियों की गिरफ्तारी और सख्त कार्रवाई की मांग कर रहा है। परिजनों का कहना है कि दोषियों को जल्द से जल्द सजा मिलनी चाहिए, ताकि आयुष को न्याय मिल सके।

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