Russia–Ukraine War: रूस-यूक्रेन युद्ध भले ही यूरोप में चल रहा हो, लेकिन इसकी गूंज अब भारत और अमेरिका के रिश्तों तक पहुंच चुकी है। अमेरिका के साउथ कैरोलिना से सीनेटर लिंडसे ग्राहम ने शुक्रवार को एक अहम बयान देकर सबको चौंका दिया। उन्होंने भारत से खुलकर अपील की है कि वह अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की युद्ध खत्म कराने की कोशिशों में मदद करे।
यह बयान ऐसे समय आया है जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच कुछ घंटे पहले ही फोन पर बातचीत हुई थी। इस कॉल में दोनों नेताओं ने यूक्रेन में चल रहे हालात पर चर्चा की थी, और पीएम मोदी ने पुतिन को भारत आने का निमंत्रण भी दिया।
ग्राहम का भारत से अनुरोध- Russia–Ukraine War
सीनेटर लिंडसे ग्राहम ने शुक्रवार (8 अगस्त, 2025) को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट करते हुए कहा, “भारत और अमेरिका के रिश्तों को सुधारने के लिए जो सबसे महत्वपूर्ण काम भारत कर सकता है, वह है यूक्रेन में जारी संघर्ष को खत्म करने में राष्ट्रपति ट्रंप की मदद करना।” उन्होंने यह भी कहा, “भारत रूस से सस्ते तेल का दूसरा सबसे बड़ा खरीदार है, जिससे पुतिन की युद्ध मशीन को ईंधन मिल रहा है। मुझे उम्मीद है कि प्रधानमंत्री मोदी ने पुतिन से अपनी हालिया बातचीत में इस युद्ध को न्यायपूर्ण और सम्मानजनक तरीके से खत्म करने की आवश्यकता पर जोर दिया होगा।”
As I have been telling my friends in India, one of the most consequential things they could do to improve India-U.S. relations is to help President Trump end this bloodbath in Ukraine.
India is the second largest purchaser of Putin’s cheap oil — the proceeds of which fuel his… https://t.co/376LkTwXtd
— Lindsey Graham (@LindseyGrahamSC) August 8, 2025
मोदी-पुतिन की बातचीत और ग्राहम की प्रतिक्रिया
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने पोस्ट में बताया था कि उन्होंने अपने दोस्त राष्ट्रपति पुतिन से एक विस्तृत और सकारात्मक बातचीत की। पीएम मोदी ने पुतिन को इस साल के अंत में भारत-रूस वार्षिक शिखर सम्मेलन में शामिल होने का निमंत्रण भी दिया था। ग्राहम ने पीएम मोदी के इस पोस्ट पर प्रतिक्रिया दी और भारत के प्रभाव को समझदारी से इस्तेमाल करने की अपील की। उन्होंने कहा, “भारत का इस मामले में एक अहम प्रभाव है, और मुझे उम्मीद है कि वे इसे सही तरीके से इस्तेमाल करेंगे।”
यूक्रेन युद्ध में भारत की भूमिका
ग्राहम ने कहा कि भारत को इस युद्ध के निपटारे में एक अहम भूमिका निभानी चाहिए, खासकर जब भारत और रूस के बीच तेल व्यापार और अन्य आर्थिक रिश्ते बहुत गहरे हैं। भारत रूस से सस्ता तेल खरीदता है, जो पुतिन की युद्ध मशीन को चलाने के लिए जरूरी है। ग्राहम का मानना है कि भारत अपने प्रभाव का इस्तेमाल करके इस संघर्ष को खत्म करने में मदद कर सकता है, जिससे अमेरिका और भारत के रिश्ते और भी मजबूत हो सकते हैं।
पीएम मोदी और पुतिन के रिश्ते
प्रधानमंत्री मोदी और पुतिन के बीच लगातार सकारात्मक रिश्ते रहे हैं। दोनों देशों के बीच वार्षिक शिखर सम्मेलन और अन्य उच्च स्तरीय बातचीतों के माध्यम से दोनों देशों के रिश्ते और मजबूत होते जा रहे हैं। इस बार पुतिन ने मोदी को यूक्रेन संकट के ताजातरीन घटनाक्रमों के बारे में जानकारी दी और मोदी ने भी उन्हें भारत में आयोजित होने वाले भारत-रूस शिखर सम्मेलन का न्योता दिया।
ग्राहम की चिंता और भारत से उम्मीदें
ग्राहम ने यह भी कहा कि भारत को अपने युद्ध से मुनाफा कमाने की कीमत चुकानी पड़ेगी। उन्होंने पहले भी ट्रंप के उस फैसले का समर्थन किया था, जिसमें भारत पर रूस से तेल खरीदने के लिए अतिरिक्त टैरिफ लगाने की बात थी। ग्राहम का मानना है कि भारत जैसे देशों को रूस से तेल खरीदने की वजह से एक महत्वपूर्ण दायित्व उठाना होगा और उन्हें यह जिम्मेदारी समझनी चाहिए।