G Ram G Bill Passed: लोकसभा में गुरुवार को भारी हंगामे और विपक्ष के विरोध के बीच सरकार का अहम विधेयक ‘विकसित भारत–जी राम जी विधेयक, 2025’ पारित कर दिया गया। यह विधेयक मौजूदा महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) की जगह लेगा, जो पिछले करीब 20 सालों से ग्रामीण रोजगार की रीढ़ माना जाता रहा है। सरकार का कहना है कि नया कानून ग्रामीण रोजगार और आजीविका को ज्यादा व्यापक और मजबूत बनाएगा, जबकि विपक्ष इसे बिना पर्याप्त जांच-पड़ताल के लाया गया कदम बता रहा है।
आधी रात तक चली चर्चा, 99 सांसदों ने रखी बात (G Ram G Bill Passed)
‘रोजगार एवं आजीविका मिशन (ग्रामीण) (विकसित भारत–जी राम जी) विधेयक, 2025’ पर बुधवार देर रात तक चर्चा हुई। आधी रात के बाद चर्चा समाप्त हुई, जिसमें कुल 99 सांसदों ने हिस्सा लिया। सभी दलों की ओर से अपनी-अपनी आपत्तियां और सुझाव रखे गए। विपक्ष लगातार इस विधेयक को संसदीय समिति या संयुक्त संसदीय समिति (JPC) के पास भेजने की मांग करता रहा।
संसदीय समिति की मांग पर नहीं मानी बात
गुरुवार को जैसे ही लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान को जवाब देने के लिए आमंत्रित किया, कांग्रेस सांसद केसी वेणुगोपाल ने फिर से विधेयक को स्थायी समिति या JPC को भेजने की मांग उठा दी। उन्होंने कहा कि “पूरे सदन की भावना यही है और सरकार को इस पर सहयोगी रवैया अपनाना चाहिए।”
हालांकि, स्पीकर ओम बिरला ने इस मांग को खारिज करते हुए कहा कि विधेयक पर पर्याप्त चर्चा हो चुकी है। उन्होंने याद दिलाया कि विपक्ष के आग्रह पर चर्चा का समय भी बढ़ाया गया था और सभी दलों के सांसदों को अपनी बात रखने का मौका मिला।
विपक्ष का विरोध और नारेबाजी
जैसे ही शिवराज सिंह चौहान ने विधेयक पर सरकार का पक्ष रखना शुरू किया, विपक्षी सांसदों ने नारेबाजी तेज कर दी। उनका कहना था कि या तो इस विधेयक को वापस लिया जाए या फिर संसदीय समिति को भेजा जाए। हंगामे के बीच चौहान ने विपक्ष पर पलटवार करते हुए कहा कि इस तरह का विरोध महात्मा गांधी के अहिंसा के सिद्धांतों के खिलाफ है।
सरकार का जवाब: गांधी और दीनदयाल के विचारों पर काम
ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने विपक्ष के आरोपों को सिरे से खारिज किया। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी हमारे दिलों में बसते हैं और सरकार उनकी सोच से प्रेरित योजनाएं चला रही है। साथ ही उन्होंने पंडित दीनदयाल उपाध्याय के विचारों का भी जिक्र किया।
कांग्रेस पर निशाना साधते हुए चौहान ने सवाल किया कि जब कांग्रेस सरकार ने जवाहर रोजगार योजना का नाम बदला था, तो क्या वह पंडित जवाहरलाल नेहरू का अपमान था?
125 दिन रोजगार की गारंटी का दावा
शिवराज सिंह चौहान ने सदन को बताया कि मनरेगा के तहत अब तक 8.53 लाख करोड़ रुपये खर्च किए जा चुके हैं। नए विधेयक में सरकार 125 दिन के रोजगार की गारंटी दे रही है। उन्होंने साफ कहा कि यह सिर्फ कागजी वादा नहीं है, बल्कि इसके लिए 1.51 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा के बजट का प्रावधान किया गया है।
ध्वनिमत से पारित, सदन स्थगित
विपक्ष के विरोध के बावजूद आखिरकार विधेयक को ध्वनिमत से पारित कर दिया गया। इसके तुरंत बाद लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने सदन की कार्यवाही दोपहर 1 बजकर 7 मिनट पर स्थगित करते हुए शुक्रवार सुबह 11 बजे तक के लिए टाल दी।








