ADR Most Richest CM: भारत में मुख्यमंत्री बनने का मतलब सिर्फ एक संवैधानिक पद संभालना ही नहीं, बल्कि एक बड़ी ज़िम्मेदारी निभाना होता है। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि हमारे मुख्यमंत्रियों के पास कितनी संपत्ति होती है? कौन सबसे अमीर है और कौन सबसे कम दौलतमंद? इसको लेकर हाल ही में एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (ADR) और नेशनल इलेक्शन वॉच ने एक रिपोर्ट जारी की है, जो चौंकाने वाली है।
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रिपोर्ट में क्या है खास? (ADR Most Richest CM)
इस रिपोर्ट में देश के 27 राज्यों और 3 केंद्रशासित प्रदेशों के कुल 30 मौजूदा मुख्यमंत्रियों की संपत्ति का विश्लेषण किया गया है। आंकड़े इन नेताओं के चुनावी हलफनामों के आधार पर जुटाए गए हैं। मणिपुर को इस लिस्ट से बाहर रखा गया है क्योंकि वहां राष्ट्रपति शासन लागू है।
रिपोर्ट के मुताबिक, इन सभी मुख्यमंत्रियों की औसत संपत्ति 54.42 करोड़ रुपये है। कुल मिलाकर सभी 30 मुख्यमंत्रियों के पास 1,632 करोड़ रुपये की संपत्ति है। सबसे खास बात ये है कि इन 30 में से 2 मुख्यमंत्री अरबपति हैं।
सबसे अमीर सीएम: चंद्रबाबू नायडू
आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू इस लिस्ट में सबसे ऊपर हैं। उनके पास 931 करोड़ रुपये से ज्यादा की संपत्ति है। यह आंकड़ा बाकी मुख्यमंत्रियों के मुकाबले कहीं ज्यादा है और उन्हें देश का सबसे अमीर सीएम बना देता है।
उनके बाद अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री पेमा खांडू का नंबर आता है, जिनके पास 332 करोड़ रुपये से ज्यादा की संपत्ति है। तीसरे नंबर पर हैं कर्नाटक के सीएम सिद्धारमैया, जिनके पास करीब 51 करोड़ रुपये की संपत्ति है।
ममता बनर्जी: सबसे सादा जीवन जीने वाली सीएम
इस रिपोर्ट में सबसे कम संपत्ति वाली मुख्यमंत्री हैं पश्चिम बंगाल की ममता बनर्जी। उनके पास सिर्फ 15.38 लाख रुपये की संपत्ति है। उनके बाद जम्मू-कश्मीर के उमर अब्दुल्ला हैं, जिनकी संपत्ति 55.24 लाख रुपये है।
केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन के पास 1.18 करोड़, राजस्थान के भजनलाल शर्मा के पास 1.46 करोड़, और उत्तर प्रदेश के योगी आदित्यनाथ के पास 1.54 करोड़ रुपये की संपत्ति दर्ज है।
और कौन-कौन हैं लिस्ट में?
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के पास 1.64 करोड़, पंजाब के भगवंत मान और ओडिशा के मोहन माझी के पास 1.97 करोड़ रुपये की संपत्ति है।
आपराधिक मामलों की भी जानकारी
सिर्फ संपत्ति ही नहीं, रिपोर्ट में ये भी बताया गया है कि 30 में से 12 मुख्यमंत्रियों ने अपने खिलाफ आपराधिक मामले घोषित किए हैं। इनमें से 10 मुख्यमंत्रियों पर गंभीर आरोप हैं, जैसे हत्या की कोशिश, अपहरण, धमकी या भ्रष्टाचार से जुड़े मामले।
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