नई दिल्ली। मां की जितनी तारिफ की जाए उतनी कम हैं। ये हम सब जानते हैं कि एक मां को भगवान का दर्जा दिया गया है। क्योंकि मां अपने बच्चों के लिए वो सब करती है जो उसके बच्चों का भविष्य बना सके और उनको खुशियां दे सके। लेकिन आज हम आपको एक ऐसी मां के बारे में बताने जा रहे हैं जिसने अपने बच्चों का भविष्य सवारने के लिए अपनी इज्जत तक को दांव पर लगा दिया। जी हां ये मां चाहती है कि उसके बच्चे उसे नग्न अवस्था में देखें।
बता दें कि ये मां हैं जानी-मानी लेखिका रीटा टेम्पलटन जिन्होंने अपने ये विचार हफिंगटन पोस्ट की वेबसाइट के साथ शेयर किए हैं। उन्होंने लिखा कि वे घर में अपने चार बेटों के साथ रहती है। वो काफी छोटे है तो वह अभी व्यस्क लड़कों की तरह व्यवहार नहीं कर रहे है, न ही उनके कमरों से व्यस्क पुस्तकें मिल रही हैं। उन्होंने लिखा की मेरे हिसाब से मेरे बच्चों को व्यस्क पुस्तकें रखने की जरूरत 20 वर्ष की आयु पार करने के बाद ही आएगी।
लेखिका ने लिखा कि मैं चाहती हुं जब-तक मेरे बच्चों की हॉट न्यूड युवतियों की तस्वीरें देखने की नौबत आए, उससे पहले वे मेरी बॉडी का अनुभव ले ताकि उन्हें महिलाओं के अंग से जुड़ी पूरी जानकारी हो सके। उन्होंने लिखा कि मेरा परिवार एक साधारण परिवार नहीं है। लेकिन मैं उनके जैसे वस्त्रों में नहीं घूमती हूं, पर मैं उनके सामने निवस्त्र होकर कपड़े बदलने में परहेज भी नहीं करती।
बच्चे जाने महिलाओं के शरीर को
रीटा आगे लिखती हैं कि मैं ये सब इसलिए करना चाहती हुं ताकि मेरे बच्चे जाने की एक साधारण महिला का शरीर कैसा होता हैं। उन्होंने लिखा कि अगर मैं ऐसा नहीं करती तो उनके दिमाग में किसी हॉट न्यूड महिला का शरीर बस जाएगा जिन्हें वह किसी व्यस्क पुस्तक या वीडियो में देखेंगे और वह उन्ही के जैसी काया की तलाश में लगे रहेंगे। जोकि उनके लिए घातक साबित हो सकता है। उन्होंने लिखा कि मैं चाहती हूं कि वे मुझे देखकर ये जान सके की किसी भी महिला का शरीर एक समान नहीं रहता जैसा की हॉट युवतियों को देखकर नौजवान समझते हैं।
रीटा लिखती हैं कि वे चाहती है कि उसके बेटे उससे पूछें कि उसके पेट पर निशान कैसे पड़े हैं? वो चाहती है कि वो गर्व के साथ बता सके कि बच्चे को गर्भ में पालना कितना कठिन काम है। उनके मुताबिक वे नहीं चाहती कि उसके बच्चे किसी महिला के तने हुए शरीर को ही आदर्श मान ले। जो कि किसी मैगजीन में डिजिटल तौर पर बनाए जाते है।
रीटा कहती हैं कि उन्हें सबसे ज्यादा खुशी उस समय होगी जिस दिन उनके बेटे कहेंगे की कपड़े ठीक से पहनिए। साथ ही वे कमरे में दरवाजा खटखटा कर अंदर आएंगे। लेकिन तब तक मैं चाहती हूं कि वह मेरे शरीर को देखकर हंसते रहें।